पीड़ितों का रजिस्टर: सलवा जुडूम के समय वे लोग गांव छोड़कर आये...
ग्राम-ताकाबेड़ा, जिला-बीजापुर (छत्तीसगढ़) से मंगल माझी पिता भैरम बता रहे हैं, सलवा जुडूम के समय गांव में घटना हुआ था, नक्सलीयों के डर से गांव के सभी लोग गांव छोड़कर भग रहे हैं , फिर उन्हें भी गांव छोकर आना पड़ा, अभी बीजापुर शिविर में रह रहे हैं, अभी उन्हें कोई परेशानी नही हैं, अधिक जानकारी के लिए सम्पर्क नंबर@7647828211. GT
Posted on: May 05, 2021. Tags: BHAIRM MAJHI BIJAPUR CG DISPLACED MANGAL MAJHI VICTIMS REGISTER VICTIM MAOIST
पीड़ितों का रजिस्टर: 2005 में सलवा जुडूम में नक्सलीयों के डर से अपना गांव छोड़कर आये...
ग्राम-सागमेटा, ब्लाक-भैरमगढ़, जिला-बीजापुर (छत्तीसगढ़) से रामकुमार धुरवा, पिता स्वर्गीय पिंटा धुरवा बता रहे हैं, सलवा जुडूम में नक्सलीयों के डर से गांव के सभी लोग अपना गांव छोड़कर भगें| फिर वे लोग भी डर से 2005 में बीजापुर शांतिनगर में आकर रह रहे हैं, अभी उन्हें कोई परेशानी नही हैं, बनी मजदूरी कर के अपना जीवन यापन कर रहे हैं, अधिक जानकारी के लिए संपर्क नंबर@8305011958. GT
Posted on: May 03, 2021. Tags: BHAIRAMGARH BIJAPUR CG DISPLACED MAOIST VICTIM RAMKUMAR DHURVA SWARGIPINTA DHURVA VICTIMS REGISTER 2005
जो अक्सर अंधेरे के साये मे रहती है...कविता-
कानपुर से के एम भाई अंतर्राष्टीय महिला दिवस के उपलक्ष में एक कविता सुना रहे है :
जो अक्सर अंधेरे की साये में रहती है-
मैंने देखा है ऊँ आँखों को-
जो कभी आंसुओ से भीग जाती है-
तो जो कभी पहर सी ठहर सी जाती है-
जो सदियों से एक पलक भी नहीं झपकी-
जो कभी एकांत में सिसक जाती है...
Posted on: Mar 08, 2021. Tags: KANPUR KM BHAI POEM UP
कोरोना का है कहना, शराबी होना पर मजदूर न होना...कोरोना पर कविता-
कानपुर उत्तर प्रदेश से के. एम. भाई आज कोरोना महामारी के बारे में बताते हुये एक कविता सुना रहे हैं :
कोरोना का है कहना-
शराबी होना पर मजदूर न होना-
अमेरिका जाना पर भारत में न रहना-
खूब रोना पर कुछ न कहना-
भूखे रहना और बार बार हांथ धोना-
कोरोना का है कहना-
शराबी होना पर मजदूर न होना...
Posted on: May 12, 2020. Tags: CORONA POEM KM BHAI SONG UP VICTIMS REGISTER
आओ हम सब, होली के रंग मे डूब जाएं...कविता-
कानपूर (उत्तर प्रदेश) से के एम भाई होली के अवसर पर सभी को होली की शुभकामनायें देते हुये एक कविता सुना रहे हैं:
आओ हम सब, होली के रंग मे डूब जाएं-
मस्त मगन होकर जश्न मनाए-
तन भीग जाए मन भीग जाए-
कुछ ऐसे सरोबोर हो जाएं कि-
खुशी से सारा जग भीग जाएं-
हर तरफ उल्लास ही उल्लास हो-
हर तरफ उमंग ही उमंग हो-
रंगों के खेल में सब मगन हो-
नया जोश और एक नई लहर हो-
अबीर-गुलाल से भीगा हर शहर हो-
आओ हम सब-
होली के रंग मे डूब जाएं-
मस्त मगन होकर जश्न मनाए-
जश्न मनाए जश्न मनाए...