इरोम शर्मिला और अन्ना हज़ारे...एक कविता
आज मेरा रोम रोम चीख रहा है, एरोम तुम्हारे लिए
चीख पुकार तो कब से दबी थी , गुस्सा भी चीख चीख के निकला था
vt स्टेशन पे तुम्हारी रिहाई की गुहार लगाकर, मानों तन और मनं ऐसा थरका था
लोगों को तुम्हारे बारे में बताना, लोगों को अफ्प्सा काले कानून के बारे में बता कर
मानो मनं कुछ तो हल्का हुआ था
लेकिन कुछ दिन से इस देश की गुहार देखकर, अन्ना हजारे पर प्यार देख कर
देश के कोने कोने से भर्ष्टाचार के यह एक आवाज़ सुनकर, खुश तो हूँ,
पर मेरा दिल चीख चीख के रो रहा है, मेरा दिमाग, मेरा तन.... इस क्रांति पे खुश है
पर मेरा दिल मेरा साथ नहीं है, मेरा दिल तम्हारे पास है इरोम
वोह तुम्हारे लिए रो रहा है
वोह इस देश को समझ नहीं पा रहा है , आखिर एक दिल है......
तुम दस सालसे भी ज्यादा से भूख हड़ताल पे हो,
तुम्हारे साथ एक भी भारतवासी नहीं आया
तुम AFSPA के काले कानून के खिलाफ हो, तुम्हें किसी ने नहीं अपनाया
किसी को मत बताना इरोम, यह एक ऐसी पहेली है
जिसका जवाब इंसानों के साथ बदलता हैं
हम अन्ना हजारे के साथ है, यह हमारी देश भक्ति है
हम अन्ना हजरे के साथ है, हम आम जनता के साथ है
जब हम तुम्हारे साथ है, हम देशद्रोही है
जब तुम्हारे साथ हैं, हम फ़ौज और जवानों के खिलाफ है
हम इस देश की सुरक्षा के खिलाफ है
भ्रष्टाचार तो बचपन से हमें, हमारी किताबों में भी एक गलत चीज़ है बताया गया है
पर इरोम, देश भक्ति हमें, केवल अपने देश को बचाना ही सिखाएगी
देश, फ़ौज , पोलिस—-देश भक्ति का अटूट अंग बन गए हैं
वह मेरी तुम्हरी लड़ाई में हमारे दुश्मन बन गए हैं
भ्रष्टाचार में लाखों करोड़ों के घपले हैं, पर अफ्प्सा , जैसे काले कानून के कारण
इस देश भक्ति के कारण, लाखों करोड़ों देशवासी मौत की नीद सो गए गए है
उनके मरने से उनके परिवार भी मर गए हैं,
और हम सब उनको आतंकवादी के नाम देकर....
देशभक्ति का प्रमाण देकर कहीं सो गए
इरोम, हम सरकार की इस बर्बरता को, देशभक्ति के परदे में देख नहीं पाते
कब हमारे देश वासी जागेंगे, और हम देश वासी बाद में , पहले इंसान है
इस एहसास को जान पायेंगे, कब इरोम कब
कब हजारों लाखों तुम्हारे साथ भी
भूख हड़ताल पे जायेंगे ,
कब इरोम कब, हमारे देशवासी, इस देशभक्ति का, मुखोटा हटाएँगे
अन्ना हजारे तुम्हारी जीत हो गयी है, तुम्हारे ८५ घंटों के अनशन से
लोकपाल बिल आएगा......., इरोम शर्मीला के दशक के अनशन पे
AFPSA हटा नहीं है, अन्ना क्या आप इरोम के साथ बैठोगे ?
क्या आप कानून के नाम पर जो लहू बह रहा है ?
उसको रोक पाओगे ?
कामायनी बाली महाबल