परम पिता से प्यार नही रहे तो फिर व्यवहार नही...गीत-
ग्राम-रिमारी, जिला-सीधी (मध्यप्रदेश) से लालजी वैश्य एक संजीवनी गीत सुना रहे है :
परम पिता से प्यार नही रहे तो फिर व्यवहार नही-
इसीलिए तो आज देख लो कोई सुखी परिवार नही-
आम फूल-फल मेवा हमको समय-समय पर देता है-
लेकिन है इतना उधार बदले में कुछ नही लेता है-
देने में इंकार नही देत भाव तकरार नही-
ऐसे दानी का तू बंदे माने क्यों उपकार नही-
मानव के चोले में जाने कितने अंत लगाए हैं...