वनांचल स्वर : पथरी का घरेलू उपचार-
वैद्य एच.डी. गांधी, रायपुर (छत्तीसगढ़) से पथरी रोग का एक घरेलू उपचार बता रहे हैं, पत्थरचून जिसे पत्थर चट्टा, जख्मे हयात, परमवीज, हिमसागर के नाम से जाना जाता है, उसकी पत्ती मोटी होती है और घर में गमले के लगाया जा सकता है यह नमी मिट्टी में रखे रहने पर अपने सभी कोने से पौधे निकलती है, स्वाद में खट्टी होती है, उसके 100 ग्राम पत्ती को पीसकर, सुबह खाली पेट पानी के सांथ ले, 21 दिन तक लगातार सेवन करने से पथरी रोग में आराम मिलता है, सुबह खाली पेट एक गिलास दूध पी सकते हैं, शाम को कुल्थी की दाल को 100 ग्राम एक लीटर पानी में उबाल ले जब एक पाव बच जाए तो गुन-गुना कर शाम को सोने के समय पीना चाहिए, बैगन, टमाटर, तेल, खटाई, गरिष्ट भोजन, नशा का प्रयोग ना करें| गांधी@9111061399